ग्रह स्पष्ट करने की सरल विधि
प्रिय पाठक गण ज्योतिष ऐसा विषय है जिस पर बहुत सावधानी से काम करना पड़ता है कहा जाता है सावधानी हटी तो दुर्घटना घटी असावधानी द्वारा किया गया कार्य कार्य क्षमता को बाधित कर देता है खासकर के ज्योतिष जैसे व्यापक क्षेत्र में तो असावधानी बिलकुल नहीं होना चाहिए इसलिए जन्म पत्रिका बनाते समय हर बिंदु पर गहराई से विचार करना चाहिए हमारी एक गलती पूरी पत्रिका को बेकार कर सकता है यह वैसा ही है जैसा नींव यदि कमजोर हो तो पूरी बिल्डिंग भरभरा कर गिर जाती है | भवन मजबूत हो इसके लिए ईंट , सीमेंट ,रेत ,गिट्टी छड़ आदि उत्तम श्रेणी {क्वालिटी } का होना चाहिए पर इससे भी अधिक आवश्यक यह है कि भवन बनाने वाला कुशल कारीगर होना चाहिए अगर ईंट बालू छड़ सीमेंट उत्तम ही हो मगर कारीगर अनाड़ी हो तो भी बना हुआ भवन गिर जायेगा क्योंकि यदि भवन का नींव टेढ़ा हो कमजोर हो तो वह मकान धराशायी हो जायेगा अतः आवश्यकता है कि सामग्री के साथ साथ कारीगर भी अच्छा हो ठीक ऐसे ही जन्म पत्रिका [जन्म कुंडली ] के निर्माण में भी समझना चाहिये ज्योतिषी परिपक्व होना चाहिये और ज्योतिषी कुशल तब होता है जब हर कार्य को सावधानी पूर्वक करता हो | ...